प्रदेश में सरकार बनना मुश्किल
भोपाल । मध्यप्रदेश में पांचवी बार सरकार बनाना भाजपा के लिए आसान दिखाई नहीं दे रहा है । बागियों और निर्दलियों के कारण 90 सीटें उलझ गई है और 60 सीटें बेहद कमजोर है। सुखद खबर यह है कि 70 सीटें भाजपा की सुरक्षित है।संगठन के मोर्चा प्रकोष्ठ के लोग काम नहीं कर रहे , जिसके कारण चुनावी रणनीति केन्द्र के भरोसे है। अब केवल भाजपा को प्रधानमंत्री मोदी की सभाओं और रोड शो का ही सहारा है।
आरएसएस मध्य क्षेत्र की इकाई और इंटेलिजेंस की गोपनीय रिपोर्ट के मुताबिक 230 में से 90 सीटें निर्दलीय और बागियों के कारण उलझ गई है। भाजपा के आला नेता इन असंतुष्ठों को बैठाने में नाकामयाब रहे हैं। वहीं 60 सीटें इस बार भी 2018 की तरह बेहद कमजोर दिखाई दे रही है। यहां के प्रत्याशी चयन का भी कार्यकर्ताओं में भारी विरोध हो रहा है। उधर मोर्चा और प्रकोष्ठ के नेता और कार्यकर्ता बिल्कुल भी काम नहीं कर रहे हैं। अब पार्टी संगठन को केवल प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की सभाओं और रोड़ शो का ही सहारा है।